मुंबई। Netflix 10 Years in India: स्ट्रीमिंग प्लटफॉर्म्स दुनियाभर में मनोरंजन का बड़ा साधन बन चुके हैं। अपनी मर्जी के मुताबिक जैसा चाहे कंटेंट देखने की आजादी ने कन्ज्यूमर को सशक्त किया है। स्ट्रीमिंग प्लेटफॉर्म्स के जरिए आज दुनिया की विभिन्न भाषाओं का कंटेंट अलग-अलग देशों में कन्ज्यूम किया जा रहा है।
भाषा की जानकारी ना होने पर भी सबटाइटल्स और डबिंग के जरिए फिल्में और वेब सीरीज का लुत्फ उठाया जा रहा है। नेटफ्लिक्स इंडिया की वाइस प्रेसीडेंट कंटेंट मोनिका शेरगिल ने फिक्की फ्रेम्स 2025 में मनोरंजन जगत में आये इस बदलाव पर विस्तार से चर्चा की।
नेटफ्लिक्स के भारत में 10 साल
आरजे ऋषिकेश कन्नन के साथ बातचीत में मोनिका ने नेटफ्लिक्स की भारत में यात्रा पर भी बात की। नेटफ्लिक्स ने भारतीय ओटीटी बाजार में 2016 में सेक्रेड गेम्स के साथ कदम रखा था। 2026 में प्लेटफॉर्म को एक दशक पूरा हो जाएगा। इस दौरान नेटफ्लिक्स ने ओटीटी बाजार के बड़े हिस्से पर कब्जा किया है।
मोनिका ने कहा कि हमारे लिए यह सौभाग्य की बात है कि हम ऐसे देश में हैं, जहां मनोरंजन को इतनी गहराई से पसंद किया जाता है। दर्शकों का यही प्यार कहानीकारों को प्रेरित करता है और हर उस चीज को मायने देता है, जो हम कर रहे हैं।
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नेटफ्लिक्स के अहम पड़ाव
नेटफ्लिक्स के सफर में अहम पड़ावों के बारे में बात करते हुए मोनिका ने कहा- सेक्रेड गेम्स ने हमारी कहानियों को ग्लोबल स्टेज देने में अहम भूमिका निभाई। दिल्ली क्राइम और वीर दास के इंटरनेशनल एमीज जीतने से, आरआरआर और गंगूबाई काठिवाड़ी के दुनियाभर में मशहूर होने से लेकर द बैड्स ऑफ बॉलीवुड और सैयारा के पूरी दुनिया में पसंद किया जाना, अहम पड़ाव हैं।
कंटेंट को कन्ज्यूम करने की आदत पर मोनिका ने कहा- पहले लोगों के पास विकल्प नहीं थे। जो सामने आ गया, वो देख लिया। स्ट्रीमिंग ने इसे बदल दिया। आज, दर्शक कहानियों को अपनी तरफ खींचते हैं। महान कहानियां वो होती हैं, जो गहराई से बनाई जाती हैं और बड़े पैमाने पर लोग प्यार देते हैं। यह मनोरंजन का शीर्ष है।
जब किसी स्टोरी को लेकर बातचीत होने लगे, आप उसके बारे में कैफेज में सुनते हैं, घरों में चर्चा होती है, मीम बनते हैं और सोशल मीडिया में चर्चा होती है तो समझिए उस कहानी से लोग जुड़ रहे हैं। नेटफ्लिक्स का यही असर है। द बैड्स ऑफ बॉलीवुड, हीरामंडी या एमिली इन पेरिस जैसी कहानियां सिर्फ स्क्रीन पर नहीं दिखतीं, बल्कि यह सांस्कृतिक, फैशन, संगीत और लोग कैसे इनसे जुड़ते हैं, इस सबको आकार देती हैं।
दुनियाभर में देखा जाता है भारतीय कंटेंट
क्षेत्रीय सिनेमा को लेकर मोनिका ने कहा कि अब यह सिर्फ नेशनल नहीं, इंटरनेशनल बन चुका है। नेटफ्लिक्स की ग्लोबल व्यूइंग में 70 फीसदी कंटेंट सबटाइटल्स और डबिंग के जरिए देखा जा रहा है। भारत की कहानियां अब दुनियाभर में देखी जा रही हैं। छोटी और स्थानीय कंटेंट के सामने भी दुनियाभर में देखे जाने का विकल्प रहता है।